आरती कुंजबिहारी की | Aarti Kunj bihari Ki, कृष्ण भगवान की आरती, Krishna ji ki aarti, kanha ji ki aarti
सभी कृष्ण भक्तो को जय श्री कृष्णा, धर्म से सम्बंधित सभी जानकारी को इंटरनेट पर देख रहा हूँ। कुछ भी पूरा और सही नहीं लिखा गया है। इसी तरह सभी आरती भी सम्पूर्ण नहीं है। लिखने वालो ने बस कॉपी और पेस्ट कर दिया। यह भी नहीं देखा की सही क्या है। प्रभु के श्री चरणों मे सेवा का छोटा सा प्रयास है। हम यहाँ सभी भक्तो के लिये आरती कुंजबिहारी की सम्पूर्ण ला रहे है। यह आरती हम बचपन से पिताजी(स्वर्गीय अशोक कुमार शर्मा जी) से सुनते आ रहे है। आशा है! असली सम्पूर्ण आरती से आपका मन प्रसन्न हो जाएगा। बोलो “जय श्री राधे”, “कुंजबिहारी की जय”।
Aarti Kunj Bihari Ki Lyrics in Hindi आरती कुंजबिहारी की संपूर्ण
आरती कुंजबिहारी की । श्री गिरधर कृष्णमुरारी की ।।
गले में बैजंतीमाला, बजावै मुरलि मधुर बाला ।
श्रवन में कुण्डल झलकाला,
नंदके आनँद नँदलाला ।।
नन्द के आनंद , मोहन बृजचंद , परमानंद,
राधिका रमण बिहारी की
श्री गिरधर कृष्णमुरारी की ।।
आरती कुंजबिहारी की । श्री गिरधर कृष्णमुरारी की ।।
गगन सम अंग कांति काली, राधिका चमक रही आली,
लतनमें ठाढ़े बनमाली ,
भ्रमन-सी अलक, कस्तूरी-तिलक, चंद्र-ली झलक,
ललित छबि स्यामा प्यारी की ।
श्री गिरधर कृष्णमुरारी की ।।
आरती कुंजबिहारी की । श्री गिरधर कृष्णमुरारी की ।।
कनकमय मोर-मुकुठ बिलसै, देवता दरसनको तरसै,
गगन सों सुमन रासि बरसै,
बजे मुरचंग, मधुर मिरदंग, ग्वालनी संग,
अतुल रति गोपकुमारीकी ।
श्री गिरधर कृष्णमुरारी की ।।
आरती कुंजबिहारी की । श्री गिरधर कृष्णमुरारी की ।।
जहाँ ते प्रगट भई गंगा, कलुष कलि हारिणि श्रीगंगा,
स्मरन ते होत मोह-भंगा,
बसी सिव सीस , जटाके बीच, हरै अघ कीच,
चरन छबि श्रीबनवारीकी ।
श्री गिरधर कृष्णमुरारी की ।।
आरती कुंजबिहारी की । श्री गिरधर कृष्णमुरारी की ।।
चमकती उज्ज्वल तट रेन्नु, बज रही बृन्दाबन बेनु,
चहूँदिसि गोपि ग्वाल धेनू,
हँसत मृदु मंद, चाँदनी चंद, कटत भव-फंद,
टेर सुन्नु दीन भिखारीकी ।
श्री गिरधर कृष्णमुरारी की ।।
आरती कुंजबिहारी की । श्री गिरधर कृष्णमुरारी की ।।
आरती कुंजबिहारी की । श्री गिरधर कृष्णमुरारी की ।।
Aarti Kunj Bihari Ki Lyrics in English
Aarti Kunj Bihari Ki, Shri Girdhar Krishna Murari Ki
Gale Mein Baijanti Mala, Bajave Murali Madhur Bala |
Shravan Mein Kundal Jhalakala, Nand Ke Anand Nandlala ||
Nand Ke Anand, Mohan Brajchand, Parmanand
Radhika Raman Bihari Ki
Shri Girdhar Krishna Murari Ki
Aarti Kunj Bihari Ki, Shri Girdhar Krishna Murari Ki
Gagan Sam Ang Kanti Kali, Radhika Chamak Rahi Aali
Latan Mein Thadhe Banamali;
Bhramar Si Alak, Kasturi Tilak, Chandra Si Jhalak;
Lalit Chavi Shyama Pyari Ki |
Shri Girdhar Krishna Murari Ki ||
Aarti Kunj Bihari Ki Shri Girdhar Krishna Murari Ki
Kanakmay Mor Mukut Bilse, Devata Darsan Ko Tarse
Gagan So Suman Raasi Barse;
Baje Murchang, Madhur Mridang, Gwaalin Sang; Atual Rati Gop Kumaari Ki |
Shri Girdhar Krishna Murari Ki ||
Aarti Kunj Bihari Ki Shri Girdhar Krishna Murari Ki
Jahaan Te Pragat Bhayi Ganga, Kalush Kali Haarini Shri Ganga
Smaran Te Hot Moh Bhanga;
Basi Shiv Shish, Jataa Ke Beech, Harei Agh Keech; Charan Chhavi Shri Banvaari Ki |
Shri Girdhar Krishna Murari Ki ||
Aarti Kunj Bihari Ki Shri Girdhar Krishna Murari Ki
Chamakati Ujjawal Tat Renu, Baj Rahi Vrindavan Benu
Chahu Disi Gopi Gwaal Dhenu;
Hansat Mridu Mand, Chandani Chandra, Katat Bhav Phand;
Ter Sun Deen Bhikhaaree Ki |
Shri Girdhar Krishna Murari Ki ||
Aarti Kunj Bihari Ki Shri Girdhar Krishna Murari Ki
Aarti Kunj Bihari Ki Shri Girdhar Krishna Murari Ki
Aarti Kunj Bihari Ki Image
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FAQ
भगवान कृष्ण को कुंज बिहारी क्यों कहा जाता है ?
वृन्दावन की कुंज गलियों में भगवान कृष्ण ने खेलकर अपना बचपन बिताया था, वो कुंज गलियों में विहार करते थे, इसी कारण श्री कृष्ण को कुंज बिहारी कहा जाता है।